ॐ द्यौ: शान्तिरन्तरिक्षँ शान्ति:, पृथ्वी शान्तिराप: शान्तिरोषधय: शान्ति: । वनस्पतय: शान्तिर्विश्वे देवा: शान्तिर्ब्रह्म शान्ति:, सर्वँ शान्ति:, शान्तिरेव शान्ति:, सा मा शान्तिरेधि ॥ ॐ शान्ति: शान्ति: शान्ति: ॥ हिन्दी रूपांतरण: शान्ति: कीजिये, प्रभु त्रिभुवन में, जल में, थल में और गगन में, अन्तरिक्ष में, अग्नि पवन में, औषधि, वनस्पति, वन, उपवन में, सकल विश्व में अवचेतन में! शान्ति राष्ट्र-निर्माण सृजन, नगर, ग्राम और भवन में जीवमात्र के तन, मन और जगत के हो कण कण में, ॐ शान्ति: शान्ति: शान्ति:॥
PRAVEEN CHOPRA